JEE-NEET की परीक्षा और GST मुआवजे के मुद्दे पर सोनिया की बैठक, ममता भी होंगी शामिल

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कांग्रेस की अंतरिम अध्यक्ष सोनिया गांधी ने बुधवार को राज्यों को जीएसटी मुआवजे, देशभर में JEE MAIN-NEET की परीक्षाएं स्थगित करने सहित कई मुद्दों को लेकर डिजिटल बैठक बुलाई है. जानकारी है कि मीटिंग दोपहर 2.30 पर होगी. उन्होंने इसके लिए मंगलवार को पश्चिम बंगाल, महाराष्ट्र और झारखंड के मुख्यमंत्रियों से संपर्क किया था. लेकिन जानकारी है कि बाकी मुख्यमंत्रियों को छोड़कर महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे इस मीटिंग में नज़र नहीं आएंगे. कांग्रेस की ओर से कई बार आग्रह किए जाने के बाद भी महाराष्ट्र इस मीटंग में हिस्सा नहीं ले रहा है.

दरअसल, 27 अगस्त यानी गुरुवार को जीएसटी काउंसिल की बैठक हो रही है. इसके पहले कांग्रेस बैठक में सामूहिक रुख अख्तियार करने के लिए पार्टी शासित चार राज्यों के मुख्यमंत्रियों सहित इन तीन गैर कांग्रेस शासित प्रदेशों से संपर्क किया है. सूत्रों के हवाले से जानकारी मिली थी कि वो इनके साथ मिलकर जीएसटी परिषद की बैठक में जीएसटी से जुड़े मुआवजे के लिए केंद्र सरकार पर दबाव बनाने के मकसद से साझा रणनीति बनाएंगी.

कांग्रेस की ओर से मंगलवार को कहा गया कि केंद्र सरकार को जीएसटी लागू होने से राज्यों को हुए राजस्व नुकसान की भरपाई के लिए मुआवजे का पूरा और समय से भुगतान करना चाहिए. कांग्रेस प्रवक्ता राजीव गौड़ा ने एक वीडियो लिंक में कोरोनावायरस संकट के कारण राज्यों को हुए नुकसान का जिक्र करते हुए कहा, ‘यह मुश्किल समय है. हमारी मांग है कि सरकार राज्यों को मुआवजे की पूरी राशि दे और समय पर दे.’

वहीं, जानकारी है कि इस मीटिंग में कांग्रेस देशभर में JEE-NEET की परीक्षाएं कराने के सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर भी चर्चा कर सकती है. पूरे देश में इस परीक्षा के आयोजन को लेकर आवाज उठ रही है. ममता बनर्जी इस मुद्दे को लेकर पहले ही आवाज उठा रही हैं. उन्होंने सोमवार को ट्वीट करके कहा था कि ‘JEE-MAINऔर NEET परीक्षा के सितंबर में संचालन के लिए @EduMinOfIndia के निर्देश के साथ मैं फिर केंद्र से अपील करूंगी कि वे खतरे का आकलन करें और स्थिति के फिर से अनुकूल होने तक इन परीक्षाओं को स्थगित कर दें. यह हमारा कर्तव्य है कि हम अपने सभी छात्रों के लिए एक सुरक्षित वातावरण सुनिश्चित करें.’

वहीं राहुल गांधी ने सोमवार को कहा था कि ‘आज हमारे लाखों छात्र सरकार से कुछ कह रहे हैं. NEET, JEE परीक्षा के बारे में उनकी बात सुनी जानी चाहिए और सरकार को एक सार्थक हल निकालना चाहिए.’