राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद आज पहली बार पहुचेंगे बनारस, दशाश्वमेध घाट पर होने वाली मां गंगा की आरती में शामिल होंगे

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राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद पहली बार दशाश्वमेध घाट पर होने वाली मां गंगा की आरती में शामिल होंगे। राष्ट्रपति 13 मार्च को तीन दिवसीय दौरे के लिए वाराणसी पहुंचेंगे। श्री काशी विश्वनाथ जी का दर्शन करने के बाद मां गंगा की आरती में वे शामिल होंगे।

राष्ट्रपति का 13 से 15 मार्च तक वाराणसी के साथ ही मिर्जापुर और सोनभद्र के दौरे का कार्यक्रम है। 13 मार्च की शाम को मां गंगा की विशेष महाआरती में राष्ट्रपति शामिल होंगे। ऐसा पहली बार होगा, जब देश के राष्ट्रपति काशी की गंगा आरती के विहंगम दृश्य के साक्षी बनेंगे। आयोजन को खास बनाने के लिए मां गंगा की दैनिक महाआरती नौ अर्चकों से होगी। रिद्धि सिद्धि के रूप में 18 कन्याएं होगी, जो मां गंगा की महाआरती को और भी भव्य बनाएंगी।

राष्ट्रपति की मौजूदगी में भव्य आरती के लिए गंगा सेवा निधि ने तैयारियां शुरू कर दी हैं। गंगा सेवा निधि के अध्यक्ष सुशांत मिश्र ने बताया कि उन्हें राष्ट्रपति के प्रस्तावित कार्यक्रम की सूचना मिली है। अब तक कई देशों के राष्ट्र अध्यक्ष गंगा आरती में शामिल हो चुके हैं। खुद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भी तीन बार आ चुके हैं।

बता दें कि गंगा आरती में जर्मनी के राष्ट्रपति फ्रेंक वाल्टर, मॉरीशस के राष्ट्रपति पृथ्वीराज सिंह रूपन व मॉरीशस के प्रधानमंत्री, पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह, दलाई लामा, भूटान के प्रधानमंत्री, भूटान नरेश, पोलैंड के एंबेस्डर भी मां गंगा की आरती की भव्यता का दर्शन कर चुके हैं।

राष्ट्रपति के तीन दिवसीय काशी प्रवास के मद्देनजर जिलाधिकारी कौशल राज शर्मा ने शहर में धारा-144 लागू किया है। इस दौरान शहर में ड्रोन के प्रयोग पर पूरी तरह प्रतिबंध रहेगा। जिलाधिकारी कौशल राज शर्मा ने बताया कि ड्रोन आदि का प्रयोग होने से सुरक्षा एवं विधि व्यवस्था प्रभावित किए जाने की संभावना से इनकार नहीं किया जा सकता। ऐसे में 13 मार्च से 15 मार्च 2021 तक वाराणसी शहर में धारा-144 के अंतर्गत प्रदत्त अधिकार का उपयोग करते हुए निषेधाज्ञा लागू कर दी गई है। कोई भी व्यक्ति या संस्था श्री काशी विश्वनाथ मंदिर परिसर, जलासेन घाट, ललिता घाट, मणिकर्णिका घाट एवं अन्य महत्वपूर्ण घाटों पर ड्रोन का प्रयोग नहीं करेगा।