बिजनेस

नहीं थम रहा WhatsApp Privacy Policy पर विवाद – दिल्ली हाईकोर्ट ने कहा, नई नीति नहीं है मंजूर तो न करें इस्तेमाल

WhatsApp की नई पॉलिसी को लेकर विवाद थमने का नाम नहीं ले रहा है. उसकी इस पॉलिसी को लेकर सोमवार को दिल्ली हाईकोर्ट में सुनवाई हुई. मामले की सुनवाई करते हुए दिल्ली हाईकोर्ट ने कहा कि व्हाट्सऐप की नई Privacy Policy मंजूर करना Voluntary है. और यदि कोई इसकी शर्तों और नियमों से सहमत नहीं है, तो वह इसका इस्तेमाल नहीं करने का ऑप्शन चुन सकता है.
जस्टिस संजीव सचदेवा ने पिटिशनर वकील से कहा कि ‘यह एक private app है, आप इसे ज्वाइन ना करें, यह एक स्वैच्छिक बात है, इसे मंजूर ना करें, किसी दूसरे ऐप का इस्तेमाल करें. सुनवाई के दौरान दिल्ली हाईकोर्ट ने WhatsApp और Facebook की नई नीति पर नोटिस जारी करने से मना कर दिया .

नई प्राइवेसी पॉलिसी को लेकर चुनौती (Challenge regarding new privacy policy)
‘याचिकाकर्ता ने WhatsApp की नई प्राइवेसी पॉलिसी को लेकर चुनौती दी थी. पहले यह प्राइवेसी पॉलिसी अगले माह फरवरी में आने वाली थी लेकिन फिलहाल इसे मई तक के लिए टाल दिया गया है. हाईकोर्ट ने यह भी कहा कि अगर अधिकांश मोबाइल ऐप के नियम और शर्तें पढ़ी जाती तो ‘आपको आश्चर्य होगा कि आप सभी के लिए क्या मंजूरी दे रहे हैं’.अदालत ने कहा कि ‘यहां तक ​​कि Google map भी आपके सभी डेटा को कैप्चर और स्टोर करता है.’

अदालत ने आगे कहा कि यह समझ में नहीं आ रहा है कि पिटिशन के अनुसार क्या डेटा लीक होगा और चूंकि इस मुद्दे पर विचार करने की जरुरत है, इसलिए सोमवार को समय की कमी के कारण इसे 25 जनवरी को इसपर सुनवाई होगी. वहीं केंद्र सरकार भी अदालत की बात से सहमत थी कि इस मुद्दे को Analysis करने की जरुरत है.

निजी बातचीत Encrypted रहेगी (Encrypted private conversations)
WhatsApp और Facebook की तरफ से सीनियर एडवोकेट कपिल सिब्बल और मुकुल रोहतगी ने हाईकोर्ट को बताया कि पिटिशन सुनवाई योग्य नहीं है और इसमें उठाए गए कई मुद्दों का कोई आधार ही नहीं है. उन्होंने कहा कि परिवार के सदस्यों और दोस्तों के बीच निजी बातचीत encrypted रहेगी और उसे WhatsApp स्टोर नहीं कर सकता. नई नीति में यह स्थिति नहीं बदलेगी. वकीलों ने कहा कि नीति में बदलाव से व्हाट्सऐप पर कारोबारी बातचीत ही प्रभावित होगी. याचिका में कहा गया है कि privacy की नई नीति संविधान के तहत प्राइवेसी के अधिकारों का हनन करती है.

‘सरकार की कोई निगरानी नहीं’ (‘Option was given in European countries’)
पिटिशन में दावा किया गया है कि व्हाट्सऐप की निजता संबंधी नई नीति यूजर्स की ऑनलाइन गतिविधियों पर पूरी पहुंच की अनुमति देती है और इसमें सरकार की कोई निगरानी नहीं है. नई नीति के तहत यूजर्स या तो इसे स्वीकार करता है या ऐप से बाहर हो जाता है. लेकिन वे अपने डाटा को फेसबुक के Ownership वाले दूसरे मंच या किसी अन्य ऐप के साथ साझा नहीं करने का ऑप्शन नहीं चुन सकते हैं. याचिकाकर्ता की ओर से कहा गया कि नई नीति से सहमत नहीं होने का ऑप्शन यूरोपीय देशों में यूजर्स को दिया गया था, लेकिन भारत में नहीं.

Ekta Singh

Ekta Singh covers Political, Entertainment and Sports News. She believes that it is a writer’s responsibility to make sure that the readers get valuable news and hence it is imperative that the words should be written in a manner that it should be easily understood by all.

Recent Posts

लखनऊ की इति राज बनीं मिसेज इंडिया यूनिवर्सल की फर्स्ट रनर अप..

लखनऊ की पूर्व एंकर इति राज ने मिसेज इंडिया यूनिवर्सल 2023 फर्स्ट रनरअप का खिताब…

12 months ago

एक्सीडेंट ऑर कॉन्सपिरेसी गोधरा’ का रिलीज हुआ जबरदस्त Teaser..

2002 के गुजरात के गोधरा कांड पर आधारित फिल्म ‘एक्सीडेंट ऑर कॉन्सपिरेसी गोधरा’ का टीजर…

12 months ago

2% इंट्रेस्ट लोन का जाल, चीन के चक्कर में पड़कर कहीं बांग्लादेश भी न बन जाए श्रीलंका..

1971 में अस्तित्व में आए बांग्लादेश चीनी कर्ज में फंसता जा रहा है. बांग्लादेश के…

12 months ago

कैलिफोर्निया में राहुल गांधी, बीजेपी ने कहा, ‘पीएम मोदी बॉस हैं’ यह बात कांग्रेस नेता नहीं पचा सकते..

भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने बुधवार को कांग्रेस नेता राहुल गांधी पर नई संसद में…

12 months ago

‘रवींद्र जडेजा BJP कार्यकर्ता, उनकी बदौलत CSK ने जीती IPL ट्रॉफी’, तमिलनाडु भाजपा अध्यक्ष के. अन्नामलाई का बयान..

तमिलनाडु के बीजेपी अध्यक्ष के. अन्नमलाई ने चेन्नई सुपरकिंग्स को पांचवीं बार आईपीएल विजेता बनने…

12 months ago