विदेश मंत्री एस जयशंकर ने गुरुवार को कहा कि श्रम, कृषि और शिक्षा जैसे क्षेत्रों में इसके भारत द्वारा शुरू किए गए सुधारों को जब व्यवसाय सुगमता, स्टार्ट अप और कौशल बढ़ाने से जोड़ा जाएगा, तो इससे वैश्विक सहयोग के लिए ज्यादा रास्ते तैयार किए जा सकते हैं। उन्होंने डाटा और साइबर सुरक्षा पर भी ध्यान देने की जरूरत पर जोर दिया।
विदेश मंत्री जयशंकर ने कहा कि कोविड-19 महामारी के कारण दुनिया की अर्थव्यवस्था प्रभाावित होने के बाद यह स्पष्ट है कि प्राथमिक उद्देश्य इसे पटरी पर लाना है।
जयशंकर ने इंडिया-नॉर्डिक बाल्टिक सीआईआई सम्मेलन में कहा, ”इस अनिश्चितता और दौर की संवेदनशीलता के साथ हम ज्यादा ठोस वैश्विक आपूर्ति श्रृंखला को बढ़ावा देने के लिए इच्छुक हैं। बहरहाल, हमें सिर्फ खोए हुए आधार को प्राप्त करने पर ध्यान नहीं देना चाहिए। हमें अलग एवं बेहतर तरीके से काम करने का भी यह अवसर है। इसलिए इसे फिर से हासिल करने और ठोस बनाने के लिए हमें सुधार करना होगा।”
जयशंकर ने महामारी के सबक का इस्तेमाल वैश्विक कल्याण में करने का भी आह्वान किया। उन्होंने कहा कि स्वाभाविक रूप से बृहद् डिजिटलीकरण पर ध्यान देने के साथ हमें इसके आधारभूत संरचना के साथ ही डाटा एवं साइबर सुरक्षा पर भी ध्यान देने की जरूरत है।
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