हाथरस के लिए थोड़ी देर में निकलेंगे राहुल-प्रियंका, गैंगरेप की घटना को लेकर देश भर में गुस्सा

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उत्तर प्रदेश के हाथरस में गैंगरेप का शिकार हुई युवती को इंसाफ दिलाने के लिए देशभर में गुस्सा है. पीड़िता की मौत के बाद उसका जबरन अंतिम संस्कार कर दिया गया, जिसपर कई सवाल खड़े हो रहे हैं. राजनीतिक दलों ने यूपी सरकार को निशाने पर लिया है. इस घमासान के बीच कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा आज ही पीड़िता के परिवार से हाथरस में मुलाकात करेंगी. प्रियंका गांधी के साथ उनके भाई और कांग्रेस नेता राहुल गांधी भी हाथरस जाएंगे.

प्रियंका कर चुकी हैं परिवार से बात
इससे पहले जब पीड़िता की मौत हुई थी, तो प्रियंका ने पीड़िता के परिवार से फोन पर बात की थी. इस मामले के सामने आने के बाद प्रियंका ने यूपी सीएम योगी आदित्यनाथ का इस्तीफा मांगा है.

प्रियंका गांधी वाड्रा की ओर से यूपी सरकार पर निशाना साधा गया है. उन्होंने ट्वीट कर लिखा कि हाथरस जैसी वीभत्स घटना बलरामपुर में घटी, लड़की का बलात्कार कर पैर और कमर तोड़ दी गई. आजमगढ़, बागपत, बुलंदशहर में बच्चियों से दरिंदगी हुई. यूपी में फैले जंगलराज की हद नहीं. मार्केटिंग, भाषणों से कानून व्यवस्था नहीं चलती, ये मुख्यमंत्री की जवाबदेही का वक्त है जनता को जवाब चाहिए.

आम आदमी पार्टी की ओर से गुरुवार को ही मुंबई में प्रदर्शन किया जाएगा और हाथरस की निर्भया के लिए इंसाफ की अपील की जाएगी.

SIT ने शुरू की अपनी जांच
इस बीच प्रदेश सरकार ने जिस SIT का गठन किया है, उसने अपनी जांच शुरू कर दी है. गृह सचिव भगवान स्वरूप की अगुवाई में एसआईटी की टीम ने पीड़िता के परिवार से मुलाकात की. जिसके बाद जानकारी दी गई है कि टीम की ओर से शुरुआती जांच शुरू कर दी गई है, सात दिन के अंदर हर पहलू पर मंथन किया जाएगा और रिपोर्ट दी जाएगी.

दिल्ली की निर्भया की मां ने बढ़ाया मदद का हाथ
दूसरी ओर दिल्ली गैंगरेप की निर्भया की मां आशा देवी की हाथरस जाने की खबरें थीं. हालांकि, उन्होंने इससे इनकार किया है. आशा देवी ने कहा कि अभी हाथरस में पीड़िता के घर पर भारी पुलिस बल तैनात है, साथ ही कोरोना भी है, इसलिए वहां जाने का उनका अभी इरादा नहीं है.

हालांकि, आशा देवी ने कहा कि पीड़िता का परिवार अगर चाहेगा, या न्याय दिलाने में परिवार को उनकी मदद चाहिए होगी तो वो हाथरस में अपनी बेटी खो चुके परिवार की हर संभव मदद करेगी.

आशा देवी ने कहा है कि परिवार की दुःख की घड़ी में उनको अन्दाजा है कि उन लोगों पर क्या बीत रही होगी, क्योंकि वो खुद भी इन दर्द से बरसों गुजरी हैं. आशा देवी ने कहा कि आरोपियों से क़ानून को उसी सख्ती से निपटने की जरूरत है, जैसे निर्भया के दोषियों को सज़ा दी गई थी.

गौरतलब है कि हाथरस में 19 साल की दलित युवती के साथ चार लोगों ने गैंगरेप किया था. करीब पंद्रह दिन तक संघर्ष करने के बाद दिल्ली में युवती की मौत हो गई थी. इसके बाद पुलिस ने हाथरस पहुंचकर खुद ही युवती के शव को जला दिया, जबकि परिवार को अंतिम दर्शन और संस्कार नहीं करने दिया गया.