विजय माल्या को लंदन हाईकोर्ट से एक और बड़ा झटका, भारतीय बैंक अब भगोड़े शराब कारोबारी से वसूल कर सकेंगे अपना कर्ज

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करोड़ों रुपये की बैंक धोखाधड़ी के मामले में भगोड़ा घोषित शराब कारोबारी विजय माल्या के लिए बुरी खबर सामने आई है। वह ब्रिटेन की हाईकोर्ट में दिवालिया याचिका के मामले में हार गया है। माना जा रहा है कि इससे भारतीय स्टेट बैंक (एसबीआई) उससे धन निकलवाने में एक कदम और आगे पहुंच गई है।

अदालत ने याचिका में संशोधन करने के आवेदन को सही करार दिया और कहा कि कोई भी बैंक भारत में बंधक माल्या की संपत्ति को बंधक मुक्त कर सकता है ताकि दिवाला मामले में फैसले के बाद सभी कर्जदाताओं को फायदा हो सके। अदालत ने मामले में अंतिम बहस के लिए 26 जुलाई की तिथि तय कर दी।

याचिका करने वाले बैंकों को भगोड़े आर्थिक अपराधी माल्या की उन भारतीय भारत संपत्तियों पर प्रतिभूति संबंधी अधिकार को छोड़ने की छूट मांगी थी जो उनके पास बंधक पड़ी है। इससे दिवाला प्रक्रिया में उनके पक्ष में कोई निर्णय आने पर दिवालिया व्यक्ति को कर्ज देने वाले सभी कर्जदाताओं को फायदा हो सकेगा।

दिवालिया एवं कंपनी मामलों की सुनवाई करने वाली मुख्य अदालत (आईसीसी) के न्यायाधीश मिशेल ब्रिग्स ने बैंकों के पक्ष में अपने फैसला सुनाते हुए कहा कि ऐसी कोई सार्वजनिक नीति नहीं है जो कि बैंक बंधक रखी संपत्ति पर अपने प्रतिभूति संबंधी अधिकार को न हटा सके।

वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए हुई इस सुनवाई में माल्या के पक्ष अथवा उसके खिलाफ दिवालिया आदेश देने के लिये 26 जुलाई को अंतिम बहस होगी। बैंकों का आरोप है कि माल्या मामले को लंबा खींचना चाहता है। उन्होंने दिवालिया याचिका को उसके स्वाभाविक परिणाम तक पहुंचाने की अपील की है।