एअरपोर्ट अथॉरिटी ऑफ़ इंडिया ने स्मार्ट और सतत विमानन प्रौद्योगिकी सहयोग के लिये स्वीडन के साथ समझौता-ज्ञापन पर हस्ताक्षर किये

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India-Sweden
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एअरपोर्ट अथॉरिटी ऑफ़ इंडिया ने लेव एयर नेवीगेशन सर्विसेज ऑफ स्वीडन (लुफ्तफार्त्सवरकत) ने आज नई दिल्ली स्थित प्राधिकरण के कॉरपोरेट मुख्यालय में एक समझौता-ज्ञापन पर हस्ताक्षर किये।

समझौते के तहत अगली पीढ़ी वाली सतत विमानन प्रौद्योगिकी को तैयार करने और उसे संचालित करने तथा स्मार्ट विमानन समाधानों की पड़ताल करने की क्षमताओं के मद्देनजर भारत तथा स्वीड़न के दोनों वायु विमानन सेवा प्रदाता करीबी सहयोग करेंगे। इस समझौता-ज्ञापन से दोनों देशों के बीच विमानन विशेषज्ञता और प्रौद्योगिकी के द्विपक्षीय आदान-प्रदान का रास्ता खुल जायेगा। इसके जरिये भारतीय कंपनियां तेजी से उन्नति करेंगी, तो वहीं दूसरी तरफ वे स्वीडन के नवोन्मेष और विशेषज्ञता से भी लाभ उठायेंगी। समझौता-ज्ञापन के आलोक में वे आपसी हितों के क्षेत्रों में सहयोग करने में सक्षम होंगी।

भारत और स्वीडन की दोनों एजेंसियां एएआई और एलएफवी नीचे दिये गये क्षेत्रों में संयुक्त रूप से सहयोग करेंगीः

  1. हवाई यातायात प्रबंधन
  2. हवाई यातायात नियंत्रण
  3. स्थानीय नियंत्रण कक्ष के अलावा अन्य स्थान से विमानपत्तन प्रबंधन और यातायात नियंत्रण
  4. एयरस्पेस की डिजाइन और योजना
  5. हवाई अड्डे की डिजाइन और अवसंरचना
  6. डिजिटलीकरण किये हुये हवाई अड्डे और विमानन
  7. क्षमता और प्रशिक्षण
  8. चिरस्थायी हवाईअड्डे और विमानन
  9. पायलटों के लिये प्रक्रियायें
  10. उन्नयन के लिये प्रक्रियायें

दोनों देशों के बीच सहयोग में तेजी लाने और आपसी हितों वाले क्षेत्रों की प्राथमिकता तय करने के लिये एक संयुक्त कार्य समूह गठित किया जायेगा। यह समझौता-ज्ञापन भारत और स्वीडन के बीच निरतंरता, स्वास्थ्य सुविधा, नवाचार, ऊर्जा और अवसंरचना आदि क्षेत्रों में मौजूदा सहयोग के अलावा विमानन सेक्टर में दोनों सरकारों के बीच सहयोग में महत्‍वपूर्ण भूमिका निभायेगा।